< रोमियों 3 >

1 फिर यहूदी की क्या बड़ाई, या खतने का क्या लाभ?
ଏର୍‌ଜିଉଦିମରଞ୍ଜି ସିଲଡ୍‌ ଜିଉଦିମରଞ୍ଜିଆତେ ଇନି ମନଙ୍‌? ଗବ୍‌ରେଡ୍‌ଲନ୍‌ବୋ ଡେନ୍‌ ଇନି ଞାଙ୍‌ତବୋ?
2 हर प्रकार से बहुत कुछ। पहले तो यह कि परमेश्वर के वचन उनको सौंपे गए।
ଆମ୍ମୁଙ୍‌ ଇସ୍ୱରନ୍‌ ଆ ବର୍ନେ ଜିଉଦିମରଞ୍ଜି ଆମଙ୍‌ ତନିୟନ୍‌ ଡେଏନ୍‌ ।
3 यदि कुछ विश्वासघाती निकले भी तो क्या हुआ? क्या उनके विश्वासघाती होने से परमेश्वर की सच्चाई व्यर्थ ठहरेगी?
ଇନିଆସନ୍‌ଗାମେଣ୍ଡେନ୍‌ ଲାଙ୍‌ଲେନ୍ନେ ଏର୍‌ଡର୍ନେମର୍‌ ଅଲ୍‌ଡେଏଜି, ବନ୍‌ଡ ତିଆସନ୍‌ ପଙ୍‌ ଇସ୍ୱରନ୍‌ ଆମଙ୍‌ ଆ ଡର୍ନେ କାଜ୍ଜାନ୍‌ ଡେଏ?
4 कदापि नहीं! वरन् परमेश्वर सच्चा और हर एक मनुष्य झूठा ठहरे, जैसा लिखा है, “जिससे तू अपनी बातों में धर्मी ठहरे और न्याय करते समय तू जय पाए।”
କେନ୍‌ଆତେ ଡେଡଙ୍‌ ତଡ୍‌, ଅଡ଼୍‌କୋ ମନ୍‌ରାନ୍‌ କଣ୍ଡାୟ୍‌ମର୍‌ ଡେଏନ୍‌ ଜନଙ୍‌ଡେନ୍‌, ଇସ୍ୱରନ୍‌ ଆଜାଡ଼ିନ୍‌, ସାସ୍ତ୍ରଲୋଙନ୍‌ ଆଇଡିଡ୍‌; “ବର୍ନେନମ୍‌ ବାତ୍ତେ ଆମନ୍‌ ଏର୍‌ଡୋସା ଡେତମ୍‌; ଆମନ୍‌ ଆପ୍ରନ୍‌ସୁଆତିତମଞ୍ଜି ଆଡିଡ୍‌ ଆମନ୍‌ ଜିନୟ୍‌ତମ୍‌ ।”
5 पर यदि हमारा अधर्म परमेश्वर की धार्मिकता ठहरा देता है, तो हम क्या कहें? क्या यह कि परमेश्वर जो क्रोध करता है अन्यायी है? (यह तो मैं मनुष्य की रीति पर कहता हूँ)।
ବନ୍‌ଡ ଇସ୍ୱରନ୍‌ ଆ ମନଙ୍‌ କାବ୍ବାଡ଼ାନ୍‌ ବାତ୍ତେ ଇର୍ସେ କାବ୍ବାଡ଼ାଲେନ୍‌ ଅବ୍‌ତୁୟ୍‌ଲଙ୍‌ଲନ୍‌ ଡେନ୍‌, ଇନ୍‌ଲେନ୍‌ ଇନି ଗାମ୍‌ବୋ? ଅଙ୍ଗା ଇସ୍ୱର ବନ୍‌ଡ୍ରାବନ୍‌ ବାତ୍ତେ ପନବ୍‌ରଡନ୍‌ ତିୟ୍‌ତିୟ୍‌ଲଙ୍‌ତନ୍‌, ଆନିନ୍‌ ଏର୍‌ଡରମ୍ମମର୍‌ ପଙ୍‌? ଞେନ୍‌ ମନ୍‌ରାନ୍‌ ଅନ୍ତମ୍‌ ବର୍ତନାୟ୍‌ ।
6 कदापि नहीं! नहीं तो परमेश्वर कैसे जगत का न्याय करेगा?
ତିଆତେ ଆଙ୍ଗିୟ୍‌ ଡେଡଙ୍‌ ତଡ୍‌ । ଇନିଆସନ୍‌ଗାମେଣ୍ଡେନ୍‌ ଏତ୍ତେଲ୍‌ଡେନ୍‌ ଏଙ୍ଗାଲେ ଇସ୍ୱରନ୍‌ ପୁର୍ତିନ୍‌ ଆ ମନ୍‌ରାଜିଆଡଙ୍‌ ପନ୍‌ସୁଆତିଏଜି?
7 यदि मेरे झूठ के कारण परमेश्वर की सच्चाई उसकी महिमा के लिये अधिक करके प्रगट हुई, तो फिर क्यों पापी के समान मैं दण्ड के योग्य ठहराया जाता हूँ?
ବନ୍‌ଡ କଣ୍ଡାୟ୍‌ ବର୍ନେଞେନ୍‌ ବାତ୍ତେ ଇସ୍ୱରନ୍‌ଆଡଙ୍‌ ସନେଙ୍କେନ୍‌ ଆସନ୍‌ ଗୋଗୋୟ୍‌ଲେ ପାଙେନ୍‌ ଡେନ୍‌, ଏତ୍ତେଲ୍‌ଡେନ୍‌ ଞେନ୍‌ ଇର୍ସେମର୍‌ ଗାମ୍‌ଲେ ଇନିବା ଅଲ୍‌ବିସାରଇଁୟ୍‌ଜି?
8 “हम क्यों बुराई न करें कि भलाई निकले?” जैसा हम पर यही दोष लगाया भी जाता है, और कुछ कहते हैं कि इनका यही कहना है। परन्तु ऐसों का दोषी ठहराना ठीक है।
ଏତ୍ତେଲ୍‌ଡେନ୍‌ “ମନଙ୍‌ ଜଅନ୍‌ ଆଞନାଙ୍‌ ଆସନ୍‌ ୟବା, ଇନ୍‌ଲେନ୍‌ ପରାନ୍‌ସାତ୍ତିନ୍‌ ଆ କାବ୍ବାଡ଼ା ଏଲୁମ୍‌ବା” ଗାମ୍‌ଲେ ଇନ୍‌ଲେଞ୍ଜି ଅରଃ ବର୍ନେବନ୍‌, କେନ୍‌ ଆ ମନ୍‌ରାଜି ଏତ୍ତେଲେ ବର୍ତଞ୍ଜି ଗାମ୍‌ଲେ ମନ୍‌ରାଞ୍ଜି ଇନ୍‌ଲେଞ୍ଜିଆଡଙ୍‌ ଗବ୍‌ରୟ୍‌ଲଙ୍‌ତଞ୍ଜି, ବନ୍‌ଡ ଆନିଞ୍ଜି ଆସନ୍‌ ପନବ୍‌ରଡନ୍‌ ଡକୋ, ଆନିଞ୍ଜି ତିଆତେ ଞାଙ୍‌ତଜି ।
9 तो फिर क्या हुआ? क्या हम उनसे अच्छे हैं? कभी नहीं; क्योंकि हम यहूदियों और यूनानियों दोनों पर यह दोष लगा चुके हैं कि वे सब के सब पाप के वश में हैं।
ଏତ୍ତେଲ୍‌ଡେନ୍‌ ଇନି ଜିଉଦିମରଞ୍ଜି ଆ କାକୁର୍ତି ଏର୍‌ଜିଉଦିମରଞ୍ଜି ସିଲଡ୍‌ ଗୋଗୋୟ୍‌ ମନଙ୍‌ ପଙ୍‌? ଇଜ୍ଜା ଏତ୍ତେଲେ ତଡ୍‌, ଞେନ୍‌ ଆମ୍ମୁଙ୍‌ମା ଅବ୍‌ଜନାଲବେନ୍‌ ଜିଉଦିମରଞ୍ଜି ଡ ଏର୍‌ଜିଉଦିମରଞ୍ଜି ଆମଙ୍‌ ଇର୍ସେନ୍‌ ଡକୋ ।
10 १० जैसा लिखा है: “कोई धर्मी नहीं, एक भी नहीं।
ଡରମ୍ମ ସାସ୍ତ୍ରଲୋଙନ୍‌ ଆଇଡିଡ୍‌ ଡକୋ; “ଡର୍ନେମରନ୍‌ ଆନ୍ନିଙ୍‌ ତଡ୍‌ ଅବୟ୍‌ନେ ଜାକିଁୟ୍‌ ଇଜ୍ଜା,
11 ११ कोई समझदार नहीं; कोई परमेश्वर को खोजनेवाला नहीं।
ବୁଡ୍ଡିମରନ୍‌ ଅବୟ୍‌ନେ ଜାକିଁୟ୍‌ ଇଜ୍ଜା, ଆରି ଇସ୍ୱରନ୍‌ଆଡଙ୍‌ ଆସ୍ରାୟ୍‌ତେନ୍‌ ଆ ମନ୍‌ରା ଆନ୍ନିଙ୍‌ ତଡ୍‌ ।
12 १२ सब भटक गए हैं, सब के सब निकम्मे बन गए; कोई भलाई करनेवाला नहीं, एक भी नहीं।
ଅଡ଼୍‌କୋଞ୍ଜି ଆନିଞ୍ଜି ଇସ୍ୱରନ୍‌ ଆମଙ୍‌ ସିଲଡ୍‌ ସଙାଜେଞ୍ଜି; ଅଡ଼୍‌କୋଞ୍ଜି ମନଙ୍‌ତଡନ୍‌ ଆ ତଙର୍‌ଗଡ୍‌ ଜିରେଞ୍ଜି; ଆନା ମନଙ୍‌ କାବ୍ବାଡ଼ାନ୍‌ ଆର୍‌ଲୁମ୍‌ତେନ୍‌ ଆ ମନ୍‌ରା ଆନ୍ନିଙ୍‌ ତଡ୍‌, ଅବୟ୍‌ନେ ଜାକିଁୟ୍‌ ଇଜ୍ଜା ।
13 १३ उनका गला खुली हुई कब्र है: उन्होंने अपनी जीभों से छल किया है: उनके होठों में साँपों का विष है।
ଆ କଡାଡ଼ିଞ୍ଜି ବରନ୍ତଙନ୍‌ ସାଣ୍ଡବରଞ୍ଜି ଡକୋ; ଆ ତଅଡ୍‌ଲୋଙଞ୍ଜି ସିଲଡ୍‌ କଣ୍ଡାୟ୍‌ବରନ୍‌ ଡୁଙ୍‌ତନାୟ୍‌, ଆଉସାଲ୍‌ତମ୍‌ଲୋଙଞ୍ଜି ବରନ୍ତଙନ୍‌ ବିସଜଡନ୍‌ ଅନ୍ତମ୍‌ ଡକୋ;
14 १४ और उनका मुँह श्राप और कड़वाहट से भरा है।
ଆ ତଅଡ୍‌ଲୋଙଞ୍ଜି ଅସାଙ୍‌ୟମନ୍‌ ଡ ସନୟ୍‌ପନ୍‌ ଆବରିୟ୍‌ ।
15 १५ उनके पाँव लहू बहाने को फुर्तीले हैं।
ରନବ୍ବୁନ୍‌ ଆସନ୍‌ ଆତାଲ୍‍ଜଙଞ୍ଜି ଆସନ୍‌ ଲଇର୍‌ତେ;
16 १६ उनके मार्गों में नाश और क्लेश है।
ଆନିଞ୍ଜି ଅଙ୍ଗା ତଙର୍‌ଗଡ୍‌ ଜିର୍ତଜି, ତେତ୍ତେ ଅନସେଡନ୍‌ ଡ ପନବ୍‌ରଡନ୍‌ ଡକୋ ।
17 १७ उन्होंने कुशल का मार्ग नहीं जाना।
ଆରି ଆନିଞ୍ଜି ସନୟୁ ତଙରନ୍‌ ଅଃଜ୍ଜନାଏଜି,
18 १८ उनकी आँखों के सामने परमेश्वर का भय नहीं।”
ଆରି ଇସ୍ୱରନ୍‌ଆଡଙ୍‌ ଆନିଞ୍ଜି ଅଃବ୍ବତଙେଜି ।”
19 १९ हम जानते हैं, कि व्यवस्था जो कुछ कहती है उन्हीं से कहती है, जो व्यवस्था के अधीन हैं इसलिए कि हर एक मुँह बन्द किया जाए, और सारा संसार परमेश्वर के दण्ड के योग्य ठहरे।
ଆରି ଇନ୍‌ଲେନ୍‌ ତ ଜନା, ବନାଁୟ୍‌ବରନ୍‌ ଇନିଜି ଗାମ୍‌ତେ ତି ଅଡ଼୍‌କୋନ୍‌ ବନାଁୟ୍‌ବରନ୍‌ ଏର୍‌ମାନ୍ନେଲେ ଆଡ୍ରକୋତଞ୍ଜି ଆ ମନ୍‌ରାଜିଆଡଙ୍‌ ବର୍ତଜି । କେନ୍‌ ପୁର୍ତିନ୍‌ ଆ ମନ୍‌ରାଜି ଆପ୍ରନ୍‌ସୁଆତିତେନ୍‌ ଆଡିଡ୍‌ ବନାଁୟ୍‌ବରନ୍‌ ଆମ୍ରାନ୍ନେତେଞ୍ଜି ଆ ମନ୍‌ରାଜି ଇନ୍‌ଲେନ୍‌ ଏର୍‌ଡୋସା ଗାମ୍‌ଲେ ବର୍ରନ୍‌ ଅଃର୍ରପ୍ତିଏଜି ।
20 २० क्योंकि व्यवस्था के कामों से कोई प्राणी उसके सामने धर्मी नहीं ठहरेगा, इसलिए कि व्यवस्था के द्वारा पाप की पहचान होती है।
ଇନିଆସନ୍‌ଗାମେଣ୍ଡେନ୍‌ ବନାଁୟ୍‌ବରନ୍‌ ମାନ୍ନେଲେ ଅନ୍ନିଙ୍‌ ଆ ମନ୍‌ରା ଇସ୍ୱରନ୍‌ ଆଗନିୟ୍‌ଗିୟ୍‌ଲୋଙନ୍‌ ଡରମ୍ମମର୍‌ ଗାମ୍‌ଲେ ଡନିଡିନ୍‌ ଅଃଡ୍ଡେଏ; ବନାଁୟ୍‌ବର୍‌ଲୋଙନ୍‌ ସିଲଡ୍‌ ମନ୍‌ରାନ୍‌ ଇର୍ସେମର୍‌ ଗାମ୍‌ଲେ ଜନାତେ ।
21 २१ पर अब बिना व्यवस्था परमेश्वर की धार्मिकता प्रगट हुई है, जिसकी गवाही व्यवस्था और भविष्यद्वक्ता देते हैं,
ବନ୍‌ଡ ନମି ବନାଁୟ୍‌ବରନ୍‌ ଅମ୍‌ରେଙ୍‌ଲେ ଇସ୍ୱରନ୍‌ ଆ ଡରମ୍ମ ରାଙ୍‌ଡାତେ । ଆରି ତି ଆ ବର୍ନେ ବନାଁୟ୍‌ବର୍‌ଲୋଙନ୍‌ ଡ ପୁର୍ବାଃତେ ବର୍ନେମରଞ୍ଜି ଆ ଡରମ୍ମ ସାସ୍ତ୍ରନ୍‌ ସାକିନ୍‌ ତିୟ୍‌ତେ ।
22 २२ अर्थात् परमेश्वर की वह धार्मिकता, जो यीशु मसीह पर विश्वास करने से सब विश्वास करनेवालों के लिये है। क्योंकि कुछ भेद नहीं;
ଜିସୁ କ୍ରିସ୍ଟନ୍‌ ଆମଙ୍‌ ଆଡର୍ତନେନ୍‌ ଆସନ୍‌ ମନ୍‌ରାଞ୍ଜି ଇସ୍ୱରନ୍‌ ଆଗନିୟ୍‌ଗିୟ୍‌ଲୋଙ୍‌ ଆ ବର୍ନେଞ୍ଜି ମାନ୍ନେଲେ କାବ୍ବାଡ଼ାତନ୍‌ ଗାମ୍‌ଲେ ଡନିଡିନ୍‌ ଡେତେ । ଇସ୍ୱରନ୍‌ ଆମଙ୍‌ ଆଡର୍ତନେନ୍‌ ଆ ମନ୍‌ରାନ୍‌ ତୁମ୍‌ ଞାଙ୍‌ତେ ।
23 २३ इसलिए कि सब ने पाप किया है और परमेश्वर की महिमा से रहित हैं,
ଇନିଆସନ୍‌ଗାମେଣ୍ଡେନ୍‌ ଅଡ଼୍‌କୋ ମନ୍‌ରାନ୍‌ ଇର୍ସେ କାବ୍ବାଡ଼ାନ୍‌ ଲୁମେଞ୍ଜି ଆରି ଇସ୍ୱରନ୍‌ ଆ ସନେନ୍‌ସେନନ୍‌ ସିଲଡ୍‌ ସଙାଜେଞ୍ଜି ।
24 २४ परन्तु उसके अनुग्रह से उस छुटकारे के द्वारा जो मसीह यीशु में है, सेंत-मेंत धर्मी ठहराए जाते हैं।
ଇନ୍ନିଙ୍‌ ଏର୍‌ତନିୟ୍‌ ଜିସୁ କ୍ରିସ୍ଟନ୍‌ ଆ ସନାୟୁମ୍‌ ବାତ୍ତେ ଆନିଞ୍ଜି ଅନୁରନ୍‌ ଆଞ୍ରାଙେଞ୍ଜି ଆସନ୍‌ ଡରମ୍ମମର୍‌ ଗାମ୍‌ଲେ ଡନିଡିନ୍‌ ଡେଏଞ୍ଜି ।
25 २५ उसे परमेश्वर ने उसके लहू के कारण एक ऐसा प्रायश्चित ठहराया, जो विश्वास करने से कार्यकारी होता है, कि जो पाप पहले किए गए, और जिन पर परमेश्वर ने अपनी सहनशीलता से ध्यान नहीं दिया; उनके विषय में वह अपनी धार्मिकता प्रगट करे।
ଜିସୁନ୍‌ ଆ ରନବୁନ୍‌ ବାତ୍ତେ ଆମଙନ୍‌ ଆଡର୍ତଞ୍ଜି ଆ ମନ୍‌ରାଜି ଆ ଇର୍ସେ କେମାନ୍‌ ଞାଙେତଜି ଗାମ୍‌ଲେ ଇସ୍ୱରନ୍‌ ଜିସୁନ୍‌ଆଡଙ୍‌ ସୋରୋପ୍ପାୟେନ୍‌, ମନ୍‌ରାଞ୍ଜି ଆ ଇର୍ସେ ଏର୍‌ଞନମ୍‌ ସଏଲେ ଡକୋଲନ୍‌, ଇନିଆସନ୍‌ଗାମେଣ୍ଡେନ୍‌ ଆ ଡରମ୍ମନ୍‌ ଅନବ୍‌ତୁଜନ୍‌ ଆସନ୍‌ ଇସ୍ୱରନ୍‌ କେନ୍‌ ଏନ୍ନେଲେ ଲୁମେନ୍‌ ।
26 २६ वरन् इसी समय उसकी धार्मिकता प्रगट हो कि जिससे वह आप ही धर्मी ठहरे, और जो यीशु पर विश्वास करे, उसका भी धर्मी ठहरानेवाला हो।
ନମି ଆନିନ୍‌ ଇସ୍ୱରନ୍‌ ଆ ବର୍ନେ ମାନ୍ନେଲେ କାବ୍ବାଡ଼ାଲନ୍‌ ଗାମ୍‌ଲେ ଇର୍ସେଲେଞ୍ଜି କେମାନ୍‌ ତନିୟନ୍‌ ଆସନ୍‌ କେନ୍‌ ଏନ୍ନେଲେ ଲୁମେନ୍‌ । ଆନିନ୍‌ଡମ୍‌ ଇସ୍ୱରନ୍‌ ଆ ବର୍ନେ ମାନ୍ନେଲେ ଲୁମେନ୍‌ ଆରି ଆନାଜି ଜିସୁ କ୍ରିସ୍ଟନ୍‌ ଆମଙ୍‌ ଡର୍ତଞ୍ଜି ଆନିଞ୍ଜି ନିୟ୍‌ ଇସ୍ୱରନ୍‌ ଆ ବର୍ନେ ମାନ୍ନେଲେ କାବ୍ବାଡ଼ାତନ୍‌ ଗାମ୍‌ଲେ ଡନିଡିନ୍‌ ଡେତଜି ।
27 २७ तो घमण्ड करना कहाँ रहा? उसकी तो जगह ही नहीं। कौन सी व्यवस्था के कारण से? क्या कर्मों की व्यवस्था से? नहीं, वरन् विश्वास की व्यवस्था के कारण।
ଏତ୍ତେଲ୍‌ଡେନ୍‌ ଇନିଲୋଙ୍‌ ଇନ୍‌ଲେନ୍‌ ଅବ୍‌ସୋଡ଼ାଡମ୍‌ନେବୋ? ଇଜ୍ଜା, ଏତ୍ତେଗନ୍‌ଆତେ ଇନ୍ନିଙ୍‌ ତଡ୍‌? ଅବ୍‌ସୋଡ଼ାଡମ୍‌ନେନ୍‌ ଆସନ୍‌ ଅମଙ୍‌ଲେନ୍‌ ଇନି ଡକୋ? ବନାଁୟ୍‌ବରନ୍‌ ମାନ୍ନେତବୋ ଗାମ୍‌ଲେ ପଙ୍‌? ଇଜ୍ଜା, ବନ୍‌ଡ ଡର୍ନେଲେନ୍‌ ବାତ୍ତେ ଅବ୍‌ସୋଡ଼ାଡମ୍‌ତନ୍‌ବୋ ।
28 २८ इसलिए हम इस परिणाम पर पहुँचते हैं, कि मनुष्य व्यवस्था के कामों के बिना विश्वास के द्वारा धर्मी ठहरता है।
ଇନ୍‌ଲେଞ୍ଜି ଇସ୍ୱରନ୍‌ ଆମଙ୍‌ ଡରର୍‌ତନ୍‌ବନ୍‌ ଆସନ୍‌ ଆ ବନାଁୟ୍‌ବରଞ୍ଜି ମାନ୍ନେଲେ କାବ୍ବାଡ଼ାତନେ ଗାମ୍‌ଲେ ଡନିଡିନ୍‌ ଡେଡେଲଙ୍‌ତନ୍‌, ବନ୍‌ଡ ବନାଁୟ୍‌ବରନ୍‌ ଆମ୍ରାନ୍ନେତବନ୍‌ ଆସନ୍‌ ତଡ୍‌ ।
29 २९ क्या परमेश्वर केवल यहूदियों का है? क्या अन्यजातियों का नहीं? हाँ, अन्यजातियों का भी है।
ଇସ୍ୱରନ୍‌ ଇନି ଜିଉଦିମରଞ୍ଜି ତୁମ୍‌ ଆ ଇସ୍ୱର ପଙ୍‌? ଆନିନ୍‌ ଏର୍‌ଜିଉଦିମରଞ୍ଜି ଆ ଇସ୍ୱର ନିୟ୍‌ ତଡ୍‌ ପଙ୍‌? ଓଓ ଇସ୍ୱରନ୍‌ ଏର୍‌ଡର୍ନେମରଞ୍ଜି ନିୟ୍‌ ଆ ଇସ୍ୱର ।
30 ३० क्योंकि एक ही परमेश्वर है, जो खतनावालों को विश्वास से और खतनारहितों को भी विश्वास के द्वारा धर्मी ठहराएगा।
ଇନିଆସନ୍‌ଗାମେଣ୍ଡେନ୍‌ ଇସ୍ୱରନ୍‌ ଆବୟ୍‌ନେନ୍‌, ଆରି ଜିଉଦିମରଞ୍ଜି ଡ ଏର୍‌ଜିଉଦିମରଞ୍ଜି ଗନବ୍‌ରେଡନ୍‌ ଡ ଡର୍ନେନ୍‌ ବାତ୍ତେ ଇସ୍ୱରନ୍‌ ଆନିଞ୍ଜିଆଡଙ୍‌ ଡରମ୍ମମରନ୍‌ ଅନ୍ତମ୍‌ ଜାତଜି ।
31 ३१ तो क्या हम व्यवस्था को विश्वास के द्वारा व्यर्थ ठहराते हैं? कदापि नहीं! वरन् व्यवस्था को स्थिर करते हैं।
ଏତ୍ତେଲ୍‌ଡେନ୍‌, ଡର୍ନେଲେନ୍‌ ବାତ୍ତେ ଇନ୍‌ଲେନ୍‌ ବନାଁୟ୍‌ବରନ୍‌ ସବ୍‌ଙାୟ୍‌ତବୋ ପଙ୍‌? ତିଆତେ ଆଙ୍ଗିୟ୍‌ ଡେଡଙ୍‌ ତଡ୍‌, ଆର୍ପାୟ୍‌, ଇନ୍‌ଲେନ୍‌ ବନାଁୟ୍‌ବରନ୍‌ ରଡୋ ଗାମ୍‌ଲେ ଏଞଣ୍ଡ୍ରମ୍‌ନେବା ।

< रोमियों 3 >