< نَشِيدُ ٱلْأَنْشَادِ 8 >

لَيْتَكَ كَأَخٍ لِي ٱلرَّاضِعِ ثَدْيَيْ أُمِّي، فَأَجِدَكَ فِي ٱلْخَارِجِ وَأُقَبِّلَكَ وَلَا يُخْزُونَنِي. ١ 1
कैसा होता यदि तुम मेरे लिए मेरे भाई के समान होते, मेरी माता की छाती का दूध पीते हुए! और तब, तुम मुझे बाहर कहीं दिख जाते, तो मैं तुम्हें चूम लेती; इससे मुझे कोई भी तुच्छ नज़रों से न देखता.
وَأَقُودُكَ وَأَدْخُلُ بِكَ بَيْتَ أُمِّي، وَهِيَ تُعَلِّمُنِي، فَأَسْقِيكَ مِنَ ٱلْخَمْرِ ٱلْمَمْزُوجَةِ مِنْ سُلَافِ رُمَّانِي. ٢ 2
मैं तुम्हें अपने साथ यहां ले आती, अपनी माता के घर में, जिसने मुझे शिक्षा दी है. मैं तुम्हें अपने अनारों के रस से बनी हुई उत्तम दाखमधु परोसती.
شِمَالُهُ تَحْتَ رَأْسِي، وَيَمِينُهُ تُعَانِقُنِي. ٣ 3
उसका बायां हाथ मेरे सिर के नीचे हो, तथा दाएं हाथ से वह मेरा आलिंगन करे.
أُحَلِّفُكُنَّ يَا بَنَاتِ أُورُشَلِيمَ أَلَّا تُيَقِّظْنَ وَلَا تُنَبِّهْنَ ٱلْحَبِيبَ حَتَّى يَشَاءَ. ٤ 4
येरूशलेम की कन्याओ, मुझको वचन दो, जब तक सही समय न आए, मेरे प्रेम को न जगाना.
مَنْ هَذِهِ ٱلطَّالِعَةُ مِنَ ٱلْبَرِّيَّةِ مُسْتَنِدَةً عَلَى حَبِيبِهَا؟ تَحْتَ شَجَرَةِ ٱلتُّفَّاحِ شَوَّقْتُكَ، هُنَاكَ خَطَبَتْ لَكَ أُمُّكَ، هُنَاكَ خَطَبَتْ لَكَ وَالِدَتُكَ. ٥ 5
बंजर भूमि से यह कौन चला आ रहा है, जो उसके प्रेमी का सहारा लिए हुए है? नायिका सेब के पेड़ के नीचे मैंने तुम्हें जगा दिया; वहां तुम्हारी माता तुम्हें जन्म देती हुई प्रसव पीड़ा में थी, वह प्रसव पीड़ा में थी तथा उसने तुम्हें जन्म दे दिया.
اِجْعَلْنِي كَخَاتِمٍ عَلَى قَلْبِكَ، كَخَاتِمٍ عَلَى سَاعِدِكَ. لِأَنَّ ٱلْمَحَبَّةَ قَوِيَّةٌ كَٱلْمَوْتِ. ٱلْغَيْرَةُ قَاسِيَةٌ كَٱلْهَاوِيَةِ. لَهِيبُهَا لَهِيبُ نَارِ لَظَى ٱلرَّبِّ. (Sheol h7585) ٦ 6
अपने हृदय पर मुझे एक मोहर जैसे लगा लो, हाथ पर मोहर के समान; प्रेम उतना ही सामर्थ्यी है, जितनी मृत्यु, ईर्ष्या उतनी ही निर्दयी, जितनी मृत्यु. उसकी ज्वाला आग की ज्वाला है, जो वास्तव में याहवेह ही की ज्वाला है. (Sheol h7585)
مِيَاهٌ كَثِيرَةٌ لَا تَسْتَطِيعُ أَنْ تُطْفِئَ ٱلْمَحَبَّةَ، وَٱلسُّيُولُ لَا تَغْمُرُهَا. إِنْ أَعْطَى ٱلْإِنْسَانُ كُلَّ ثَرْوَةِ بَيْتِهِ بَدَلَ ٱلْمَحَبَّةِ، تُحْتَقَرُ ٱحْتِقَارًا. ٧ 7
पानी की बाढ़ भी प्रेम को बुझाने में असमर्थ होती है; नदी में आई बाढ़ इसे डुबोने में असफल रहती है. यदि कोई व्यक्ति प्रेम के लिए अपनी सारी संपत्ति भी देना चाहे, यह संपत्ति तुच्छ ही होगी.
لَنَا أُخْتٌ صَغِيرَةٌ لَيْسَ لَهَا ثَدْيَانِ. فَمَاذَا نَصْنَعُ لِأُخْتِنَا فِي يَوْمٍ تُخْطَبُ؟ ٨ 8
हमारी एक छोटी बहन है, उस आयु की, जब उसमें जवानी के लक्षण दिखना शुरू नहीं हुए हैं, उसकी छातियां उभरी नहीं हैं. अब यदि कोई हमारी बहन के लिए विवाह की बात चलाए, तो हम क्या करेंगे?
إِنْ تَكُنْ سُورًا فَنَبْنِي عَلَيْهَا بُرْجَ فِضَّةٍ. وَإِنْ تَكُنْ بَابًا فَنَحْصُرُهَا بِأَلْوَاحِ أَرْزٍ. ٩ 9
यदि वह शहरपनाह होती, तो हम उस पर चांदी के खंभे बनाते; मगर यदि वह एक फाटक होती, तो हम उस पर देवदार के तख्ते लगवा देते.
أَنَا سُورٌ وَثَدْيَايَ كَبُرْجَيْنِ. حِينَئِذٍ كُنْتُ فِي عَيْنَيْهِ كَوَاجِدَةٍ سَلَامَةً. ١٠ 10
मैं शहरपनाह थी, तथा मेरे स्तन खंभे के समान थे. तब मैं अपने प्रेमी की नज़र में शांति लाने वाली के समान हो गई.
كَانَ لِسُلَيْمَانَ كَرْمٌ فِي بَعْلَ هَامُونَ. دَفَعَ ٱلْكَرْمَ إِلَى نَوَاطِيرَ، كُلُّ وَاحِدٍ يُؤَدِّي عَنْ ثَمَرِهِ أَلْفًا مِنَ ٱلْفِضَّةِ. ١١ 11
बाल-हामोन में शलोमोन का एक अंगूर का बगीचा था; यह उसने रखवालों को सौंप दिया था. हर एक के लिए एक शर्त थी, कि वह इसके फलों के लिए एक हज़ार शेकेल चांदी लाए.
كَرْمِي ٱلَّذِي لِي هُوَ أَمَامِي. ٱلْأَلْفُ لَكَ يَا سُلَيْمَانُ، وَمِئَتَانِ لِنَوَاطِيرِ ٱلثَّمَرِ. ١٢ 12
मेरा अपना अंगूर का बगीचा मेरी जवाबदारी है; शलोमोन, एक हज़ार शेकेल पर तुम्हारा अधिकार है, दो सौ उनके लिए हैं, जो इसके फलों की रक्षा करते रहते हैं.
أَيَّتُهَا ٱلْجَالِسَةُ فِي ٱلْجَنَّاتِ، ٱلْأَصْحَابُ يَسْمَعُونَ صَوْتَكِ، فَأَسْمِعِينِي. ١٣ 13
तुम सभी, जो बगीचों में रहते हो, मेरे साथी तुम्हारी आवाज सुनने के लिए इच्छुक बने रहते हैं. कब सुन सकूंगा, मैं वह आवाज?
اُهْرُبْ يَا حَبِيبِي، وَكُنْ كَٱلظَّبْيِ أَوْ كَغُفْرِ ٱلْأَيَائِلِ عَلَى جِبَالِ ٱلْأَطْيَابِ. ١٤ 14
मेरे प्रेमी, देर न करो, तुम्हारी चाल सुगंध द्रव्य के पहाड़ों पर से आते हुए हिरण अथवा जवान हिरण के समान तेज हो.

< نَشِيدُ ٱلْأَنْشَادِ 8 >