< ٢ كورنثوس 1 >

بُولُسُ، رَسُولُ يَسُوعَ ٱلْمَسِيحِ بِمَشِيئَةِ ٱللهِ، وَتِيمُوثَاوُسُ ٱلْأَخُ، إِلَى كَنِيسَةِ ٱللهِ ٱلَّتِي فِي كُورِنْثُوسَ، مَعَ ٱلْقِدِّيسِينَ أَجْمَعِينَ ٱلَّذِينَ فِي جَمِيعِ أَخَائِيَةَ: ١ 1
पौलुस को तरफ सी जो परमेश्वर की इच्छा सी मसीह यीशु को प्रेरित हय, अऊर भाऊ तीमुथियुस को तरफ सी परमेश्वर की उन मण्डली को, नाम जो कुरिन्थुस म हय, अऊर पूरो अखया को सब पवित्र लोगों ख।
نِعْمَةٌ لَكُمْ وَسَلَامٌ مِنَ ٱللهِ أَبِينَا وَٱلرَّبِّ يَسُوعَ ٱلْمَسِيحِ. ٢ 2
हमरो पिता परमेश्वर अऊर प्रभु यीशु मसीह को तरफ सी तुम्ख अनुग्रह अऊर शान्ति मिलती रहें।
مُبَارَكٌ ٱللهُ أَبُو رَبِّنَا يَسُوعَ ٱلْمَسِيحِ، أَبُو ٱلرَّأْفَةِ وَإِلَهُ كُلِّ تَعْزِيَةٍ، ٣ 3
हमरो प्रभु यीशु मसीह को बाप अऊर परमेश्वर को धन्यवाद हो, जो दया को बाप अऊर सब तरह की शान्ति को परमेश्वर हय।
ٱلَّذِي يُعَزِّينَا فِي كُلِّ ضِيقَتِنَا، حَتَّى نَسْتَطِيعَ أَنْ نُعَزِّيَ ٱلَّذِينَ هُمْ فِي كُلِّ ضِيقَةٍ بِٱلتَّعْزِيَةِ ٱلَّتِي نَتَعَزَّى نَحْنُ بِهَا مِنَ ٱللهِ. ٤ 4
ऊ हमरो सब कठिनायियों म प्रोत्साहन देवय हय; ताकि हम वा प्रोत्साहन को वजह जो परमेश्वर हम्ख देवय हय, उन्ख भी प्रोत्साहन दे सकेंन जो कोयी तरह की कठिनायी म हंय।
لِأَنَّهُ كَمَا تَكْثُرُ آلَامُ ٱلْمَسِيحِ فِينَا، كَذَلِكَ بِٱلْمَسِيحِ تَكْثُرُ تَعْزِيَتُنَا أَيْضًا. ٥ 5
कहालीकि जसो मसीह को दु: खों म हम बहुत सहभागी होयजे हंय, वसोच हम शान्ति म भी मसीह को द्वारा बहुत सहभागी होयजे हंय।
فَإِنْ كُنَّا نَتَضَايَقُ فَلِأَجْلِ تَعْزِيَتِكُمْ وَخَلَاصِكُمُ، ٱلْعَامِلِ فِي ٱحْتِمَالِ نَفْسِ ٱلْآلَامِ ٱلَّتِي نَتَأَلَّمُ بِهَا نَحْنُ أَيْضًا. أَوْ نَتَعَزَّى فَلِأَجْلِ تَعْزِيَتِكُمْ وَخَلَاصِكُمْ. ٦ 6
यदि हम कठिनायी उठायजे हंय, त या तुम्हरी शान्ति अऊर मुक्ति लायी हय; यदि हम खुश हंय, त या तुम्हरो खुशी लायी हय; जेको प्रभाव सी तुम धीरज को संग उन कठिनायियों ख सह लेवय हय, जिन्ख हम भी सहजे हंय।
فَرَجَاؤُنَا مِنْ أَجْلِكُمْ ثَابِتٌ. عَالِمِينَ أَنَّكُمْ كَمَا أَنْتُمْ شُرَكَاءُ فِي ٱلْآلَامِ، كَذَلِكَ فِي ٱلتَّعْزِيَةِ أَيْضًا. ٧ 7
हमरी आशा तुम्हरो बारे म मजबूत हय; कहालीकि हम जानजे हंय कि तुम जसो हमरो दु: खों म, वसोच प्रोत्साहन म भी सहभागी हो।
فَإِنَّنَا لَا نُرِيدُ أَنْ تَجْهَلُوا أَيُّهَا ٱلْإِخْوَةُ مِنْ جِهَةِ ضِيقَتِنَا ٱلَّتِي أَصَابَتْنَا فِي أَسِيَّا، أَنَّنَا تَثَقَّلْنَا جِدًّا فَوْقَ ٱلطَّاقَةِ، حَتَّى أَيِسْنَا مِنَ ٱلْحَيَاةِ أَيْضًا، ٨ 8
हे भाऊवों अऊर बहिनों, हम नहीं चाहजे कि तुम हमरो ऊ कठिनायी सी अनजान रहो जो आसिया को प्रदेश म हम पर पड़्यो; हम असो भारी बोझ सी दब गयो होतो, जो हमरी सामर्थ सी बाहेर होतो, यहां तक कि हम जीवन सी भी हाथ धोय बैठ्यो होतो।
لَكِنْ كَانَ لَنَا فِي أَنْفُسِنَا حُكْمُ ٱلْمَوْتِ، لِكَيْ لَا نَكُونَ مُتَّكِلِينَ عَلَى أَنْفُسِنَا بَلْ عَلَى ٱللهِ ٱلَّذِي يُقِيمُ ٱلْأَمْوَاتَ، ٩ 9
बल्की हम न अपनो मन म समझ लियो होतो कि हम पर मरन की आज्ञा भय गयी हय। ताकि हम अपनो भरोसा नहीं रखे बल्की परमेश्वर को जो मरयो हुयो ख जीन्दो करय हय।
ٱلَّذِي نَجَّانَا مِنْ مَوْتٍ مِثْلِ هَذَا، وَهُوَ يُنَجِّي. ٱلَّذِي لَنَا رَجَاءٌ فِيهِ أَنَّهُ سَيُنَجِّي أَيْضًا فِيمَا بَعْدُ. ١٠ 10
ओनच हम्ख मरन को असो बड़ो संकट सी बचायो, अऊर छुड़ायेंन; अऊर ओको पर हमरी या आशा हय। कि ऊ आगु भी बचातो रहेंन।
وَأَنْتُمْ أَيْضًا مُسَاعِدُونَ بِٱلصَّلَاةِ لِأَجْلِنَا، لِكَيْ يُؤَدَّى شُكْرٌ لِأَجْلِنَا مِنْ أَشْخَاصٍ كَثِيرِينَ، عَلَى مَا وُهِبَ لَنَا بِوَاسِطَةِ كَثِيرِينَ. ١١ 11
तुम भी मिल क प्रार्थना सी हमरी मदत करो कि जो वरदान बहुतों सी हम्ख मिल्यो, परमेश्वर को अनुग्रह सी बहुत लोग हमरो तरफ सी धन्यवाद करें।
لِأَنَّ فَخْرَنَا هُوَ هَذَا: شَهَادَةُ ضَمِيرِنَا أَنَّنَا فِي بَسَاطَةٍ وَإِخْلَاصِ ٱللهِ، لَا فِي حِكْمَةٍ جَسَدِيَّةٍ بَلْ فِي نِعْمَةِ ٱللهِ، تَصَرَّفْنَا فِي ٱلْعَالَمِ، وَلَا سِيَّمَا مِنْ نَحْوِكُمْ. ١٢ 12
कहालीकि हम अपनो अन्तरमन की या गवाही पर घमण्ड करजे हंय, कि जगत म अऊर विशेष कर क् तुम्हरो बीच, हमरो चरित्र परमेश्वर को लायक असी पवित्रता अऊर सच्चायी संग होतो, जो मानविय ज्ञान सी नहीं पर परमेश्वर को अनुग्रह को संग होतो।
فَإِنَّنَا لَا نَكْتُبُ إِلَيْكُمْ بِشَيْءٍ آخَرَ سِوَى مَا تَقْرَأُونَ أَوْ تَعْرِفُونَ. وَأَنَا أَرْجُو أَنَّكُمْ سَتَعْرِفُونَ إِلَى ٱلنِّهَايَةِ أَيْضًا، ١٣ 13
हम तुम्ख अऊर कुछ नहीं लिखजे, केवल ऊ जो तुम पढ़य यां समझ सकय हय, अऊर मोख आशा हय कि आखरी तक भी समझतो रहो। जसो तुम म सी कितनो न समझ लियो हय कि हम तुम्हरो घमण्ड को वजह हंय, वसोच तुम भी प्रभु यीशु को दिन हमरो लायी घमण्ड को वजह ठहरो।
كَمَا عَرَفْتُمُونَا أَيْضًا بَعْضَ ٱلْمَعْرِفَةِ، أَنَّنَا فَخْرُكُمْ، كَمَا أَنَّكُمْ أَيْضًا فَخْرُنَا فِي يَوْمِ ٱلرَّبِّ يَسُوعَ. ١٤ 14
وَبِهَذِهِ ٱلثِّقَةِ كُنْتُ أَشَاءُ أَنْ آتِيَ إِلَيْكُمْ أَوَّلًا، لِتَكُونَ لَكُمْ نِعْمَةٌ ثَانِيَةٌ. ١٥ 15
योच भरोसा सी मय चाहत होतो कि पहलो तुम्हरो जवर आऊं कि तुम्ख अऊर दुगनी खुशी मिलय;
وَأَنْ أَمُرَّ بِكُمْ إِلَى مَكِدُونِيَّةَ، وَآتِيَ أَيْضًا مِنْ مَكِدُونِيَّةَ إِلَيْكُمْ، وَأُشَيَّعَ مِنْكُمْ إِلَى ٱلْيَهُودِيَّةِ. ١٦ 16
अऊर तुम्हरो जवर सी होय क मकिदुनिया ख जाऊं; अऊर फिर मकिदुनिया सी तुम्हरो जवर आऊं; अऊर तुम मोख यहूदिया को तरफ कुछ दूर तक कुशल सी सार करो।
فَإِذْ أَنَا عَازِمٌ عَلَى هَذَا، أَلَعَلِّي ٱسْتَعْمَلْتُ ٱلْخِفَّةَ؟ أَمْ أَعْزِمُ عَلَى مَا أَعْزِمُ بِحَسَبِ ٱلْجَسَدِ، كَيْ يَكُونَ عِنْدِي نَعَمْ نَعَمْ وَلَا لَا؟ ١٧ 17
येकोलायी मय न या इच्छा करी होती त का मय न मनमानी दिखायी? यां जो करनो चाहऊ हय का शरीर को अनुसार करनो चाहऊ हय कि मय बात म “हव, हव” भी करू अऊर “नहीं, नहीं” भी करू?
لَكِنْ أَمِينٌ هُوَ ٱللهُ إِنَّ كَلَامَنَا لَكُمْ لَمْ يَكُنْ نَعَمْ وَلَا. ١٨ 18
परमेश्वर सच्चो गवाह हय कि हमरो ऊ सन्देश म जो तुम सी कह्यो “हव” अऊर “नहीं” दोयी नहीं पायो जावय।
لِأَنَّ ٱبْنَ ٱللهِ يَسُوعَ ٱلْمَسِيحَ، ٱلَّذِي كُرِزَ بِهِ بَيْنَكُمْ بِوَاسِطَتِنَا، أَنَا وَسِلْوَانُسَ وَتِيمُوثَاوُسَ، لَمْ يَكُنْ نَعَمْ وَلَا، بَلْ قَدْ كَانَ فِيهِ نَعَمْ. ١٩ 19
कहालीकि परमेश्वर को बेटा यीशु मसीह जेको हमरो सी यानेकि मोरो सिलवानुस अऊर तीमुथियुस को द्वारा तुम्हरो बीच म प्रचार भयो, ओको म “हव” अऊर “नहीं” दोयी नहीं होतो, पर ओको म “हव” होतो।
لِأَنْ مَهْمَا كَانَتْ مَوَاعِيدُ ٱللهِ فَهُوَ فِيهِ «ٱلنَّعَمْ» وَفِيهِ «ٱلْآمِينُ»، لِمَجْدِ ٱللهِ، بِوَاسِطَتِنَا. ٢٠ 20
कहालीकि परमेश्वर की जितनो प्रतिज्ञाये हंय, हि सब ओको म “हव” को संग हंय। येकोलायी ओको सी “आमीन” भी भयी कि हमरो सी परमेश्वर की महिमा हो।
وَلَكِنَّ ٱلَّذِي يُثَبِّتُنَا مَعَكُمْ فِي ٱلْمَسِيحِ، وَقَدْ مَسَحَنَا، هُوَ ٱللهُ ٢١ 21
अऊर जो हम्ख तुम्हरो संग मसीह की संगति म मजबूत करय हय, अऊर जेन हमरो अभिषेक करयो उच परमेश्वर आय,
ٱلَّذِي خَتَمَنَا أَيْضًا، وَأَعْطَى عَرْبُونَ ٱلرُّوحِ فِي قُلُوبِنَا. ٢٢ 22
हम ओको आय ओन हम पर मुहर भी लगाय दियो हय अऊर ब्याना म पवित्र आत्मा ख हमरो मनों म दियो।
وَلَكِنِّي أَسْتَشْهِدُ ٱللهَ عَلَى نَفْسِي، أَنِّي إِشْفَاقًا عَلَيْكُمْ لَمْ آتِ إِلَى كُورِنْثُوسَ. ٢٣ 23
मय परमेश्वर ख गवाह कर क् कहू हय कि मय अब तक कुरिन्थुस म येकोलायी नहीं आयो, कि मोख तुम्ख डाटनो चाहत होतो।
لَيْسَ أَنَّنَا نَسُودُ عَلَى إِيمَانِكُمْ، بَلْ نَحْنُ مُوازِرُونَ لِسُرُورِكُمْ. لِأَنَّكُمْ بِٱلْإِيمَانِ تَثْبُتُونَ. ٢٤ 24
यो नहीं कि हम विश्वास को बारे म तुम पर अधिकार जतानो चाहजे हंय; पर तुम्हरो खुशी म सहकर्मी हंय कहालीकि तुम विश्वास सीच स्थिर रह्य हय।

< ٢ كورنثوس 1 >